अस्तित्व के लिए ब्यापारि जूझ रहे है उसपर नगर निगम का तुगलकी फरमान.

सिंदरी 29 जून (सतीश चंद्र मिश्र) : सिंदरी चेंबर नगर निगम के द्वारा लगाए जारहे यूजर चार्ज का विरोध करती है. एक तरफ लोग करोना जैसे वैश्विक महामारी से जूझ रहे हैं, 3 महीने से भी ऊपर पूरी व्यापारिक गतिविधि चरमराई हुई है. व्यापारी अपने अस्तित्व के लिए जूझ रहे हैं, व्यापार और उससे होने वाली कमाई पूरी तरह ध्वस्त है लोगों के पास स्कूल फीस, बिजली का बिल, दुकान का भाड़ा, बैंक के कर्ज का ब्याज और भुक्तान परिवार चलाने के लिए पैसे जैसे जरूरी काम निपटाने के लिए पैसे का अभाव है. उनके पास आमदनी नहीं है जहां सरकार को आगे आकर व्यापारियों को सहायता करना चाहिए वहां पर निगम के द्वारा लगाए जा रहे यूजर चार्ज एक दुकान का ₹1000 चार्ज करना कहां तक जायज है?

पूरे धनबाद के दुकानदारों को एक ही श्रेणी में रखा गया है कहां तक जायज है?

सफाई के नाम पर प्रति दुकान ₹1000 चार्ज करना  कहां तक जायज है?

शिक्षा, स्वास्थ्य, साफ सफाई, इंफ्रास्ट्रक्चर और भी ऐसी मूलभूत  सुविधाए  सरकार को मुहैया करानी चाहिए. पर आश्चर्य की बात है कि सफाई के नाम पर यूजर चार्ज लेना यह कहां तक जायज है ? सरकार को इस पर चिंतन करना चाहिए और यूजर चार्ज को अविलंब वापस लेना चाहिए.

सिंदरी चेंबर इसका पुरजोर विरोध करता है और सरकार से अपील करता है कि इस तुगलकी फरमान को तुरंत वापस ले.