देवघर (विजय सिन्हा ब्यूरो, संथाल परगना): देवघर सरकार श्सबका साथ सबका विकासश् का दावा कर रही है, लेकिन सच्चाई कुछ और ही बयां कर रही है. इसकी एक बानगी प्रखंड मुख्यालय से महज 2 किलोमीटर पर स्थित पहाड़िया टोला में देखने को मिल रहा है.
यह भुरकुंडी पंचायत के अंतर्गत आता है. यहां पहाड़िया जनजातीय के दो टोला है. एक दसयोडीह पहाड़िया टोला जिसमें करीब 50 पहाड़िया परिवार रहते हैं.
दूसरा हरदिया टोला यहां पहाड़िया के करीब 25 परिवारों का बसेरा है. दोनों टोला मिलाकर लगभग 350 लोग निवास करते हैं. लेकिन, इस पहाड़िया बस्ती में मूलभूत समस्या बरकरार है. यदि अधिकारी गंभीरता से योजनाओं को उन तक पहुंचाने की कोशिश करें तो सब बेहतर दिखेगा, लेकिन ऐसा नहीं हो रहा.
टोला तक जाने को नही है सड़क-
टोला तक पहुंचने के लिए सड़क नही है. पगडंडी व खेतों का सहारा लेकर बस्ती तक पहुंचना पड़ता है. बरसात के दिनों में स्थिति और भी नारकीय हो जाती हैं. लोगों ने कई बार जनप्रतिनिधि व प्रशासन से सड़क बनवाने की मांग की है. लेकिन अब तक इस ओर कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है.
एक भी ग्रामीण दसवीं पास नहीं
पहाड़िया के दोनो टोला में एक भी लोग मैट्रिक नही है. आठवीं पास रोहित कुमार यहां का सबसे ज्यादा पढ़ा लिखा युवक है. उसकी आंखों में सिस्टम के खिलाफ आक्रोश दिखता है. उसका कहना है कि सरकार सिर्फ बड़े बड़े दावे करती है.
बस्ती तक पहुंचने के लिए आज तक सड़क का निर्माण नहीं कराया गया है. सरकार का कहना है कि प्रत्येक पहाड़िया के घर तक अनाज पहुंचाया जाएगा. लेकिन, बगैर सड़क के पहाड़िया के घर तक अनाज कैसे पहुंचाया जाएगा. बस्ती में पेयजल का भी घोर अभाव है. दसयोडीह पहाड़िया टोला में 4 और हरदिया टोला में दो चापाकल है. ग्रामीणों को पेयजल के लिए काफी परेशानी उठानी पड़ती है.
मजदूरी पर आश्रित पहाड़िया समाज-
दोनों टोला में सभी लोगों का गुजर बसर मजदूरी पर निर्भर है. आर्थिक तंगी व शिक्षा के अभाव के कारण बस्ती के लोग सरकारी नौकरी से वंचित हैं. स्वच्छ भारत अभियान के तहत बस्ती में कई शौचालय का निर्माण कराया गया है. लेकिन शौचालय को उपयोग में नहीं लाया जा रहा है. ग्रामीणों कहना है कि शौचालय निर्माण ठीक से नही किया गया है.
टोला में कुछ को छोड़ कर लगभग परिवारों को प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ नही मिला है. वही गांव के ग्रामीण नवीर पुजहर ने बताया कि आवास नही मिलने से काफी दिक्कत हो रही है. कई दफे आवास के लिए आवेदन जनप्रतिनिधियों को दिया है लेकिन अब तक आवास की स्वीकृति नही हुई है. समस्याओं को लेकर क्या कहते है ग्रामीणों लखी पुजहर - गांव में पेयजल व्यवस्था ठीक नही है.
सरकार इसपर ध्यान दे. भरत पुजहर- यहाँ समस्या का अंबार है सड़क नही रहने से काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. रोहित पुजहर- हमें समुचित सरकारी लाभ नही मिल रहा है. जालो पुजहर- कोई भी हमलोगों का दुख सुनने वाला नही है. सड़क नही रहने से काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. माला पुझारिन- सरकार पहाड़ियों जनजाति के लिए कई तरह की घोषणा की लेकिन धरातल पर कुछ और है.
देवी पुझारिन- टोला के विभिन्न समस्याओं का निदान हो मंटू पुजहर- योजनाओं का लाभ हम गरीबों को मिले. इस सम्बंध में स्थानीय मुखिया रंजीत बास्की ने बताया कि यह टोला चारों और से जमाबंदी जमीन के बीच में घिरा है जो वैष्णो समाज का है.