शराब दुकान का रास्ता बनाने निजी जमीन की फेसिंग पर प्रशासन ने चलाई जेसीबी, 10 लोगों को थमाया 107, 116 का नोटिस, भाजपा के राज में सुंदरकांड करना अपराध-कारो लिल्हारे

बालाघाट. बालाघाट नगर के रहवासी क्षेत्र में स्थित शराब दुकानों को हटाने नगरपालिका परिषद में संकल्प के बावजूद, नये ठेके के बाद दुकानें, रहवासी क्षेत्र में यथावत है, यह और बात है कि रहवासियों के साथ आंदोलन करने की बड़ी-बड़ी बात करने वाले अब दूर हो गये है और रहवासियों को उनके हाल पर छोड़ दिया है. लेकिन जनता ने अपने हक और अधिकार की लड़ाई नहीं छोड़ी. भले ही सरकार, शराब दुकानों के अहाते को बंद कर महिला हितैषी फैसला लेने का दावा कर रही हो, लेकिन रहवासी क्षेत्र में महिलायें शराब दुकान होने से आज भी परेशान है, रहवासी क्षेत्र भटेरा के वार्ड क्रमांक 02 स्थित शराब दुकान हटाने को लेकर ठेके के पहले पार्षद एवं रहवासी लोगों ने शासन, प्रशासन के नाम ज्ञापन सौंपा था, लेकिन ठेके बाद शराब दुकान के यथावत रहने पर रहवासी महिलाओं ने वार्ड पार्षद के साथ मिलकर इसके विरोध में सुंदरकांड का पाठ शुरू किया ताकि जिम्मेदारों को सद्बुद्धि आ सके. वहीं शराब दुकान वाले रास्ते में आने वाले प्लाट मालिक ने प्लाट की सुरक्षा को लेकर फेसिंग लगा दी थी. रहवासी लगातार मांग कर रहे थे कि शराब दुकान को यहां से हटाया जाये लेकिन इस पर कोई ध्यान दिये बिना कार्यपालिक दंडाधिकारी के माध्यम से लगभग 10 लोगों को 107,116 का नोटिस भेज दिया गया. जिसकी पेशी तारीख 12 जून नियत थी, बावजूद इसके अपनी बात रखने के पूर्व ही ना केवल तहसीलदार नितिन चौधरी, पटवारी अजीत तिवारी और थाना प्रभारी कमलसिंह गेहलोत की मौजूदगी में निजी प्लाट पर की गई फेसिंग को तोड़कर शराब दुकान के लिए रास्ता बना दिया गया. जिसका रहवासी क्षेत्र की महिलाओं ने विरोध दर्ज किया, बावजूद इसके विरोध और प्लाट मालिक की रजिस्ट्री को प्रशासन और पुलिस अधिकारियों ने नजरअंदाज कर दिया.

10 लोगों को दिया गया था नोटिस

भटेरा शराब दुकान के सामने कार्यपालिक दंडाधिकारी के कार्यालय से सार्वजनिक स्थान में प्रदर्शन करने वाले वार्ड क्रमांक 02 निवासी और पार्षद योगराज कारो लिल्हारे सहित अन्य 9 लोगों को 107,116 का को नोटिस जारी किया गया था. जिसके जवाब में पार्षद कारो लिल्हारे ने बताया कि हम किसी ने भी सार्वजनिक स्थान में कोई प्रदर्शन नहीं किया बल्कि विवेक दुबे के प्लाट में हनुमान जयंती मनाकर यहां सुंदरकांड का पाठ किया था. जिसे भी भाजपा सरकार के राज में प्रशासन अपराध बता रहा है तो वह इसे स्वीकारने तैयार है और इसका जवाब विधिवत तौर पर अधिवक्ता के माध्यम से देंगे.

इधर बुलाई रजिस्ट्री चेक करने, उधर उखाड़ दी फेसिंग

पार्षद कारो लिल्हारे ने बताया कि शनिवार को हम विवेक दुबे की रजिस्ट्री दिखाने कार्यालय गये थे. जहां प्रशासनिक अधिकारी को हमने बताया कि जिस स्थान पर फेसिंग की गई है, वह निजी भू-मालिकों की जगह है. अधिकारी महोदय ने अन्य लोगों की रजिस्ट्री पूछी, जिसे हमने एक-दो दिन में ला देने की बात कही. जहां मामला शांत हो गया था. इसी बीच हमें पता चला कि तहसीलदार, पटवारी अजीत तिवारी और पुलिस लगी फेसिंग को उखाड़ने पहुंचे है. जिसके बाद हम यहां पहुंचे तो देखा कि तहसीलदार, पटवारी और कोतवाली थाना प्रभारी की मौजूदगी में फेसिंग को उखाड़ा जा रहा था. इस मामले में जब हमने बताया कि हमारे पास रजिस्ट्री है तो तहसीलदार और पटवारी मानने तैयार नहीं थे. हमारा आरोप है कि शराब ठेकेदार के दबाव में प्रशासन द्वारा द्वेष पूर्ण कार्यवाही की गई. हमें रजिस्ट्री दिखाने के नाम पर बुलाकर गुमराह किया गया और पीठ पीठे यह कार्यवाही की गई. शासन और प्रशासन, शराब ठेकेदार के दबाव में काम रहा है, एक ओर मुख्यमंत्री लाडली बहना योजना की बात करते है तो वहीं दूसरी ओर प्लाट में जाने वाली महिला को पुलिसकर्मियों द्वारा धकेलकर उसका अपमान किया जाता है. जो साफ दर्शाता है कि भाजपा की नारी सम्मान को लेकर कथनी और करनी में कितना अंतर है.  

मुझे बिना सूचना दिये मेरी फेसिंग को प्रशासन और पुलिस ने तोड़ा

प्लाट मालिक विवेक दुबे का कहना है कि अतिक्रमण के मामले में भी प्रशासन नोटिस जारी करता है, जबकि मेरे प्लाट में मेरे द्वारा फेसिंग की गई थी. यदि उसे हटाना, अति आवश्यक था तो कारण बताकर मुझे सूचना दिया जाना चाहिये था लेकिन बिना मुझे कोई सूचना दिये, मेरे प्लाट में लगाई गई फेसिंग को प्रशासन और पुलिस ने तोड़ दिया. यह पूरी तरह से अवैध है, खंबे और फेसिंग को नुकसान पहुंचाया गया है. जिससे मुझे नुकसान पहुंचा है. पटवारी कहते है कि मेरा प्लाट नहीं है, जबकि मेरे पास प्लाट की रजिस्ट्री है.


Web Title : THE DISTRICT ADMINISTRATION HAS ISSUED NOTICES UNDER SECTION 107 AND 116 OF THE INDIAN PENAL CODE TO 10 PEOPLE FOR USING A PIECE OF LAND TO MAKE WAY FOR A LIQUOR SHOP.