गणेशोत्सव के पहले प्राचीन गणेश मंदिर के पास फैली गंदगी,भक्तों और रहवासी लोगों को हो रही परेशानी

बालाघाट. आगामी 31 अगस्त से गणेशोत्सव का पर्व मनाया जायेगा. जिसकी तैयारियां भी प्रारंभ हो गई है. जहां मूर्तिकार, प्रतिमाओं को आकार दे रहे है, वहीं गणेशोत्सव के पंडाल भी लगना शुरू हो गये है. ऐसे में नगर के सबसे प्राचीन गणेश मंदिर में भी, गणेशोत्सव को लेकर तैयारियां प्रारंभ हो गई है, नगर के देवी तालाब किनारे, स्थित प्राचीन गणेश मंदिर में इन दिनों भक्तों और आसपास निवासरत लोगों को मंदिर के आसपास फेंकी जा रही गंदगी की बदबू से परेशान होना पड़ रहा है.  

बताया जाता है कि मांसाहार की दुकानों से निकलने वाले अपशिष्ट और शहर के कचरा को यहां फंेका जा रहा है. जिससे एक तीक्ष्ण दुर्गंध लोगों को परेशान कर रही है. आगामी समय में गणेशोत्सव का पर्व होने के चलते जहां एक ओर नगरपालिका स्वच्छता पर विशेष जोर दे रही है, वहीं गणेश मंदिर के आसपास का वातावरण अस्वच्छ और दुर्गंधमय है, जिससे लोगों को परेशानी हो रही है. नागरिकों की मानें तो वह गंदगी सामग्री और कचरों को लाने वालांे को मना करते है तो उल्टा, उन्हें ही बुरा भला कहा जाता है, ऐसे में उनकी निगाहे, अब नगरपालिका अध्यक्ष की ओर है, ताकि वह मंदिर की महत्ता और आगामी समय में आने वाले गणेशोत्सव पर्व को देखते हुए नगरीय क्षेत्र के सबसे प्राचीन गणेश मंदिर के आसपास फैली गंदगी को साफ करवाकर, यहां एक एक स्वच्छ वातावरण दे.  

रहवासी मुन्नालाल राहंगडाले की मानें तो लोग मंदिर के पास मछली के छिलके, मुर्गियों के पंख और घरों का कचरा लाकर फेंकते है. जिससे पूरा परिसर तीक्ष्ण बदबू से परेशान है. जिसे नगरपालिका को साफ कराना चाहिये. महिला श्रीमती सुनीता पांडे ने कहा कि मंदिर परिसर के आसपास फैलाई जा रही गंदगी से मंदिर आने वाले भक्तों के साथ ही यहां निवासरत लोगों को बदबू से परेशान होना पड़ रहा है. किसी दिन नगरपालिका की झाडु लगाने वाली महिलायें, यहां नहीं आती है, जिससे मंदिर के आसपास कचरा पड़ा रहता है, वहीं आसपास भी भारी गंदगी का आलम है. नगरपालिका, गणेशोत्सव से पूर्व, यहां सफाई करें और स्वच्छता का वातावरण निर्मित करें, ताकि भक्त और लोगों को परेशानी न हो.


Web Title : AHEAD OF GANESHOTSAV, FILTH SPREAD NEAR ANCIENT GANESH TEMPLE, DEVOTEES AND RESIDENTS ARE FACING PROBLEMS