बालाघाट. गणेशोत्सव का पर्व, हमारी आजादी से जुड़ा है, सबसे पहले आजादी की लड़ाई के दौरान बाल गंगाधर तिलक ने लोगो को संगठित करने के लिए गणेशोत्सव पर प्रतिमा को विराजित किया था. जिसके बाद से पूरे देश में गणेशोत्सव का पर्व भक्तिभाव एवं आस्था के साथ मनाया जाता है. यह बात नगरपालिका अध्यक्ष श्रीमती भारती सुरजीतसिंह ठाकुर ने पुलिस कंट्रोल रूम में आयोजित शांति समिति की बैठक में कही.
आगामी 31 अगस्त से प्रारंभ हो रहे दस दिवसीय गणेशोत्सव पर्व को लेकर 24 अगस्त को सायंकाल नगर के विभिन्न चौक, चौराहों और सार्वजनिक स्थलों पर गणेशोत्सव में प्रतिमा विराजित करने वाली समिति अध्यक्ष, सचिव एवं प्रतिनिधि को लेकर बैठक आयोजित की गई थी. जिसमें नगरपालिका अध्यक्ष श्रीमती भारती सुरजीतसिंह ठाकुर, एसडीएम संदीपसिंह, तहसीलदार, सीएसपी अंजुल अयंक मिश्रा, थाना प्रभारी कमलसिंह गेहलोद, यातायात थाना प्रभारी शैलेन्द्र यादव, भाजपा नगर अध्यक्ष सुरजीतसिंह ठाकुर, पार्षद सरिता केवल सोनेकर, संगीता थापा, कमलेश पांचे, उज्जवल आमाडारे, राजेन्द्र राज हरिनखेड़े, पार्षद प्रतिनिधि सौरभ जैन, संजय पप्पु गौतम, अरूण राहंगडाले, गुलशन भाटिया, स्वास्थ्य प्रभारी सूर्यप्रकाश उके, वाचस्पति त्रिपाठी, श्री राणा सहित गणेशोत्सव समिति अध्यक्ष, सचिव, प्रतिनिधि उपस्थित थे.
इस दौरान नगरपालिका अध्यक्ष श्रीमती भारती ठाकुर ने सभी समिति अध्यक्ष, सचिव एवं प्रतिनिधियों से अपील की कि वह गणेश प्रतिमा विराजित करने वाले स्थल पर स्वच्छता बनाये रखे. जिसके लिए नगरपालिका की ओर से उन्हें डस्टबिन उपलब्ध कराई जायेगी और सांस्कृतिक कार्यक्रम के लिए जगह व्यवस्थित करके रखे. उन्होंने बताया कि नगरपालिका की ओर से इस वर्ष गणेशोत्सव समितियो को प्रोत्साहित करने के लिए प्रतिमा, पंडाल साज-सज्जा और स्वच्छता पर समितियों को पुरस्कृत किया जायेगा. उन्होंने बताया कि गणेशोत्सव में समिति भी नपा को सहयोग करें और नपा सभी गणेशोत्सव समिति स्थल पर भी सहयोग करेगी. मसलन प्रतिमा विराजित स्थल पर लाईट की व्यवस्था, भंडारा कार्यक्रम में पेयजल की व्यवस्था नगरपालिका द्वारा करवाई जायेगी.
एसडीएम संदीप सिंह ने बताया कि इस वर्ष एनजीटी के नियमों के पालनार्थ पीओपी और रासायनिक कलरों की प्रतिमा को प्रतिबंधित किया गया है. वहीं विसर्जन के लिए वैनगंगा नदी के किनारे और तालाबों के किनारे विसर्जन कुंड बनाये गये है. वहीं नदी के ऐसे चिन्हित स्थल, जहां विसर्जन किया जाता है, वहां भी विसर्जन की व्यवस्था बनाई जा रही है लेकिन हमारी अपील है कि सभी समितियां, जनसुरक्षा की दृष्टि से विसर्जन कुंड में ही विसर्जन करें.