ऑक्सीजन प्लेटफार्म को संयंत्र का इंतजार,सप्ताह के वादे में बीत गये महिने, ऑक्सीजन संयंत्र को स्थापित करने विधायक निभाये अपना वादा-अनुराग

बालाघाट. बालाघाट जिला चिकित्सालय मंे ऑक्सीजन संयंत्र स्थापित किये जाने को लेकर एमआरडीसी के माध्यम से स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग द्वारा 11 अप्रैल को निविदा निकाली गई थी. जिसको लेकर 17 अप्रैल को पूर्व मंत्री और विधायक गौरीशंकर बिसेन ने जारी प्रेस बयान में ऑक्सीजन संयंत्र के जल्द लगाये जाने की बात कही थी. जारी बयान में पूर्व मंत्री एवं विधायक गौरीशंकर बिसेन ने कहा था कि कोविड-19 मरीजों को तत्काल ऑक्सीजन सुविधा मिल सके, इसके लिए प्रथम प्राथमिकता पर शासकीय जिला अस्पताल परिसर बालाघाट में ऑक्सीजन प्लांट लगाने के लिए विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र विकास निधि से राशि दी जाएगी. जिससे यहां अतिशीघ्र ही आक्सीजन प्लांट लग जाएगा और जरूरतमंदों को इसका विशेष लाभ होगा. वहीं 28 अप्रैल को जारी प्रशासनिक बयान में जिला चिकित्सालय बालाघाट में ऑक्सीजन संयंत्र का निर्माण कार्य प्रारंभ होने की बात कही गई थी. लगभग एक करोड़ पचास लाख रुपए की लागत से बनने वाले इस संयंत्र का कार्य एक सप्ताह में पूर्ण होने का अनुमान जताया गया था. लोक निर्माण विभाग पीआईयू के अनुविभागीय अधिकारी एसपी पनका ने बताया कि जिला चिकित्सालय परिसर बालाघाट में बनने वाले ऑक्सीजन संयंत्र के लिए सिविल वर्क एवं इलेक्ट्रिकल का कार्य प्रारंभ कर दिया गया है और यह तेजी से किया जा रहा है. एक सप्ताह के भीतर इस संयंत्र के इंस्टॉल होने की पूरी संभावना है. इस संयंत्र के प्रारंभ होने पर इससे प्रति मिनट 600 लीटर द्रवीकृत ऑक्सीजन मिलने लगेगी. यह संयंत्र बालाघाट जिले के लिए एक बड़ी उपलब्धि है.  

वो दिन है और आज का दिन है, बालाघाट जिला चिकित्सालय में ऑक्सीजन प्लांट लगाने प्लेटफार्म तो तैयार कर दिया गया है लेकिन अब तक ऑक्सीजन संयंत्र नहीं आ पाया है. सप्ताह के वादों को महिनों बीत गये. जिले में स्वास्थ्य को लेकर जब कोरोना की दूसरी लहर में ऑक्सीजन की कमी को निकटता से महसुस किया गया है, तब ऐसी ढिलाई पर कांग्रेस ने तंज कसते हुए पूर्व मंत्री एवं विधायक गौरीशंकर बिसेन से अपना वादा निभाने की बात कही है और जल्द ऑक्सीजन संयंत्र के नहीं लगने पर आंदोलन की चेतावनी दी है.  

कोरोना की पहली लहर की अपेक्षा दूसरी लहर की भयावहता किसी से छिपी नहीं है, कोरोना संक्रमण की मार से जब जिला जूझ रहा था, तब सबसे ज्यादा अस्पताल में उपचार के लिए बेड, दवा और ऑक्सीजन की कमी से जूझते लोगों ने अपने परिवार के संक्रमित सदस्यों को खोया है. कोरोना संक्रमण से ऑक्सीजन की कमी और दवाओं की कमील से जूझते संक्रमित मरीजों की मौत को लेकर स्वास्थ्य विभाग के जो भी आंकड़े हो लेकिन वास्तविकता यह है कि इससे कहीं ज्यादा लोगों की शमशान घाटो में जली चितायें कोरोना से मौतों की कहानी बयां करती है.  

कोरोना संक्रमण कॉल में बालाघाट जिला न केवल कोविड सेंटर, बेड, दवा और ऑक्सीजन की कमी से जूझा बल्कि इस महामारी में जिम्मेदारों की अनदेखी भी लोगों ने महसुस की. कोरोना संक्रमण में अपनो को खोने का गम लोग अब तक नहीं भुले है, शासन, कोविड संक्रमण में अपनो को खो चुके परिवार को सहायता का मरहम लगाने का प्रयास कर रहा है लेकिन बीमारी की भयावहता और स्वास्थ्य संसाधनों की कमी से जूझते संक्रमित सदस्यों को खोने का गम आज भी परिवार के लोगों में हरा है. कोरोना की दूसरी लहर ऐसे परिवारों को तहेजिंदगी याद रहेगी, जिन्होंने अपनो को इस बीमारी में खोया है.

कोरोना की दूसरी लहर की भयावहता में सबसे ज्यादा समय ऑक्सीजन की कमी को लेकर महसुस की गई. जिसको लेकर ऑक्सीजन प्लांट की मांग होने लगी. सरकार ने भी प्रदेश के जिलो में ऑक्सीजन की अनिवार्यता को महसुस कर एमपीआरडीसी के माध्यम से स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग मध्यप्रदेश की ओर से 11 अप्रैल 2021 को 15 साल के लिए 618 एलपीएम के ऑक्सीजन उत्पादन संयंत्रो को लगाने की निविदा जारी की गई थी. जिसमें बालाघाट भी शामिल था. बालाघाट जिला चिकित्सालय में ऑक्सीजन संयंत्र लगाने की निविदा के बाद 28 अप्रैल को बालाघाट में ऑक्सीजन संयंत्र स्थापित करने के प्रारंभिक कार्य प्लेटफार्म को बनाने का काम शुरू कर दिया गया था. जो बनकर तैयार है लेकिन अब तक बालाघाट को ऑक्सीजन संयंत्र नहीं मिल सका है, जबकि वहीं लांजी में इसके बाद किये गये प्रयास से ऑक्सीजन संयंत्र स्थापित हो चुका है.  

पूर्व मंत्री एवं विधायक का वादा, जल्द लगेगा ऑक्सीजन प्लांट

17 अप्रैल को जारी प्रेस बयान में पूर्व मंत्री एवं विधायक गौरीशंकर बिसेन ने कहा था कि कोविड-19 मरीजों को तत्काल ऑक्सीजन सुविधा मिल सके, इसके लिए प्रथम प्राथमिकता पर शासकीय जिला अस्पताल परिसर बालाघाट में ऑक्सीजन प्लांट लगाने के लिए विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र विकास निधि से राशि दी जायेगी. तत्संबंध में संबंधित क्रियान्वयन एजेंसी को आदेश दिया जा चुका है. वहीं स्थान भी निर्धारित कर दिया गया है. प्लांट के लिए राशि का प्रबंध बालाघाट विधायक निर्वाचन क्षेत्र विकास निधि और अन्य मदों से किया जायेगा. जिससे यहां अतिशीघ्र ही आक्सीजन प्लांट लग जाएगा और जरूरतमंदों को इसका विशेष लाभ होगा. यही हमारा और हमारी सरकार का जनसंकल्प है. जिसके बाद कलेक्टर दीपक आर्य द्वारा स्थल निरीक्षण किया गया है. जहां उन्होंने स्वास्थ्य और संबंधित अमले को फौरन आवश्यक तैयारी करने के निर्देश दिये थे.  

28 अप्रैल को जिला चिकित्सालय में ऑक्सीजन संयंत्र कार्य हो गया प्रारंभ

28 अप्रैल को जारी बयान में बताया गया था कि जिला चिकित्सालय बालाघाट में ऑक्सीजन संयंत्र का निर्माण कार्य प्रारंभ हो गया है लगभग एक करोड़ पचास लाख रुपए की लागत से बनने वाले इस संयंत्र का कार्य एक सप्ताह में पूर्ण होने का अनुमान है. लोक निर्माण विभाग पीआईयू के अनुविभागीय अधिकारी एसपी पनका ने बताया कि जिला चिकित्सालय परिसर बालाघाट में बनने वाले ऑक्सीजन संयंत्र के लिए सिविल वर्क एवं इलेक्ट्रिकल का कार्य प्रारंभ कर दिया गया है और यह तेजी से किया जा रहा है. एक सप्ताह के भीतर इस संयंत्र के इंस्टॉल होने की पूरी संभावना है. इस संयंत्र के प्रारंभ होने पर इससे प्रति मिनट 600 लीटर द्रवीकृत ऑक्सीजन मिलने लगेगी. यह संयंत्र बालाघाट जिले के लिए एक बड़ी उपलब्धि है. इसके प्रारंभ होने से कोरोना संक्रमित मरीजों को ऑक्सीजन की कमी नहीं होगी.   

कांग्रेस ने ऑक्सीजन संयंत्र के जल्द नहीं लगने पर दी आंदोलन की चेतावनी

कांग्रेस नेता अनुराग चतुरमोहता ने कहा कि एक सप्ताह में ऑक्सीजन संयंत्र लगने का वादा किया गया था, लेकिन आज महिने बाद भी ऑक्सीजन संयंत्र स्थापित नहीं हो सका है. जो जनप्रतिनिधियों के कथनी और करनी को उजागर करतमा है. उन्होंने कहा कि भाजपा श्रेय लेने की राजनीति करती है. सालों से जिले में सिटी स्केन की सुविधा नहीं थी और जिले के लोग 5-5 हजार रूपये खर्च कर सिटी स्केन करवा रहे थे. जब लंबे इंतजार के बाद सिटी स्केन मशीन जिला चिकित्सालय में लगी तो उसका श्रेय लेने की दौड़ शुरू हो गई. जिले में कोरोना संक्रमण से मृत हुए लोगों की चिताओ की राख भी ठंडी नहीं पड़ी थी कि प्रधानमंत्री के सात साल के जश्न मनाया जा रहा था. जिले की जनता कोरोना की दूसरी लहर में जिले की स्वास्थ्य सुविधाओं और संसाधन की कमी को पास से देख चुकी है, जनता की आंखे खुल गई है, इसलिए आंख खोलिये माननीय. यदि जल्द ही ऑक्सीजन संयंत्र जिला चिकित्सालय में नहीं लगा तो इसको लेकर जनता के स्वास्थ्य सुविधाओं का लेकर आंदोलन किया जायेगा.

इनका कहना है

हमारे द्वारा निर्देशानुसार ऑक्सीजन संयंत्र के लिए प्लेटफार्म तैयार करवा दिया गया है. चूंकि यह शासन स्तर का काम है, इसलिए हम इसके बारे में ज्यादा जानकारी नहीं दे सकते. सिविल वर्क पूरा हो गया है अब केवल ऑक्सीजन संयंत्र को लगाया जाना है और उसको इंस्टॉल करना है, जो कंपनी के ही इंजीनियर करेंगे. हमारे द्वारा ऑक्सीजन पाईप लाईन डाल दी गई है.  

डॉ. अजय जैन, सिविल सर्जन, जिला चिकित्सालय 


Web Title : OXYGEN PLATFORM AWAITS PLANT, MONTHS PASSED IN WEEKS PROMISE, MLA TO SET UP OXYGEN PLANT