गोविंदपुर के 28 वर्षीय युवक में मिला कोरोना पॉजिटिव, गुजरात से आकर था होम क्वोरेंटिंन

धनबाद : धनबाद में बुधवार की देर रात सातवां कोरोना वायरस संक्रमित मरीज पाया गया है. 28 वर्षीय यह युवक गोबिंदपुर थाना क्षेत्र के दुमदुमी गांव का है. उपायुक्त अमित कुमार ने इसकी पुष्टि की है.  

पीड़ित युवक 11 मई को गुजरात से धनबाद पहुंचा था. प्रारम्भिक स्वास्थ्य परीक्षण में उसमें कोई लक्षण नहीं दिखे थे. ना तो उसे बुखार था और ना ही कफ. वह होम क्वोरेंटिंन में था.

 20 मई की रात को स्वाब रिपोर्ट पॉजिटिव आने पर उसे रात में ही तुरंत कोविड अस्पताल में भर्ती कराया गया है. अब गांव से 3 किमी क्षेत्र को कण्टेन्मेंट एरिया मानते हुए कर्फ्यू घोषित होगा.

स्वास्थ्य विभाग द्वारा पीड़ित के सम्पर्क में आने वाले सभी लोगों का पता लगाया जा रहा है.

दूसरे प्रांतों से लोगों के आने की #बढ़ती रफ्तार के साथ बढ़ रही पीड़ितों की #संख्या

झारखंड में प्रवासी श्रमिकों के आने की रफ्तार बढ़ने के साथ ही संक्रमित मरीजों की भी संख्या बढ़ती दिख रही है. धनबाद में भी यही देखा जा रहा है.

सबसे पहले बंगाल से आया हुआ कुमारधुबी का युवक संक्रमित पाया गया था.

उसके बाद डीएस रेलवे कॉलोनी के एक रेलकर्मी में संक्रमण पाया गया. वह बोकारो स्थित अपने ससुराल से आया था.

कोविड अस्पताल में इलाज के बाद दोनों स्वस्थ होकर घर जा चुके हैं.

इसके बाद मुंबई से इलाज करा कर आये मां-बेटे में संक्रमण पाया गया.

पांचवां मरीज कपूरिया इलाके का था.

छठा मरीज मुंबई से लौटे गोमो इलाके के विशुनपुर पंचायत का मिला.

बाद के चारों मरीज बिना किसी के सम्पर्क आये पीएमसीएच जांच को पहुंचे थे. इन चारों का कोविड अस्पताल में चल रहा है.

20 मई को गोबिंदपुर के दुमदुमी में सातवां मरीज मिला. इस तरह अब धनबाद इलाजरत एक्टिव मरीज़ों की संख्या 5 हो गई है.  

सबसे अधिक चिंता की बात बिना किसी को जानकारी दिए आनेवालों की पहचान का

जो लोग सरकार और प्रशासन की जानकारी में अन्य प्रांतों से ट्रेनों व बसों से पहुंच रहे हैं, उनका तो रिकार्ड है. उनके स्वास्थ्य परीक्षण और निगरानी  की व्यवस्था है.

मगर जो मालवाहक ट्रकों और अन्य साधनों से या पैदल ही पहुंच रहे हैं, उन पर निगरानी की सही व्यवस्था कठिन दिख रही है.

यदि वे स्वेच्छा से खुद जांच को पहुंच जाएं तो सही, वरना देर से संक्रमण का पता चलने पर उनके सम्पर्कों का पता लगा कठिन चुनौती साबित होगी.

प्रशासन ने जिले के सीमा पर स्थित तमाम चेकपोस्टों और अगल-बगल के रास्तों से आने वाले लोगों पर कड़ी निगरानी का आदेश दे रखा है.

इसके बावजूद ना केवल लोग दूर-दराज प्रांतों से पहुंच रहे हैं बल्कि धनबाद होकर प्रवासी श्रमिकों से लदे कई ट्रक बंगाल और अन्य जगहों की ओर जाते दिख रहे हैं.

ऐसे लोगों की निगरानी, उनका स्वास्थ्य परीक्षण और बसों से उन्हें सोशल डिस्टेंसिंग के गंतव्य तक भेजना सबसे बड़ी चुनौती है.