पीएमसीएच ऑडिटोरियम में डेंटल क्रॉन्फ्रेंस का समापन

धनबाद : पीएमसीएच ऑडिटोरियम में छठे झारखंड राज्य डेंटल क्रॉन्फ्रेंस के आखिरी दिन शनिवार को राज्यभर से आए डेंटिस्टों और डेंटल छात्रों को विशेषज्ञों ने इलाज और प्रोफेशन के बारे में कई टिप्स दिए. मुख्य वक्ता एबी शेट्टी डेंटल यूनिवर्सिटी मंगलोर के डीन डॉ कृष्णा नायक ने दंत चिकित्सकों की महत्ता, इलाज के तरीके और नई तकनीकों की जानकारी दी.

दांत से संबंधित बीमारियों की भी चर्चा की गई. महाराष्ट्र से आए डॉ सुजीत परदेसी ने विभिन्न स्थानों से आए डॉक्टरों और छात्रों को प्रैक्टिस मैनेजमेंट के बारे में बताया. आईएमए के प्रदेश अध्यक्ष डॉ एके सिंह ने कहा कि दांत की बीमारियों का समय से इलाज कराना चाहिए, ताकि बीमारी ज्यादा गंभीर हो जाए.

सांसद पशुपतिनाथ सिंह और विधायक राज सिन्हा भी कॉन्फ्रेंस में पहुंचे. उन्होंने दूसरे दिन के सत्र का आगाज किया. सांसद ने कहा कि डॉक्टर बनने का उद्देश्य सिर्फ पैसे कमाना नहीं होना चाहिए. उन्हें सामाजिक जिम्मेवारी भी निभानी चाहिए. विधायक राज ने कहा कि स्वास्थ्य और
सुंदरता दोनों के लिए दांत महत्वपूर्ण हैं. शायद इसी वजह से अब ज्यादा लोग डेंटिस्ट के पास जा रहे हैं.

आयोजन में कॉन्फ्रेंस के चेयरमैन डॉ विवेक सिंह, डॉ सौरभ पूर्वे, डॉ राजर्षि भूषण, डॉ राजीव लाल, चंद्रेश शुक्ला, डॉ केसी चांग, डॉ आरती सिन्हा, डॉ राजीव रंजन, डॉ अनुपम अग्रवाल, डॉ अनु जैन आदि ने अहम भूमिका निभाई.

डॉ. कृष्णा नायक ने बताया कि मेडिकल साइंस में लगातार रिसर्च हो रहे हैं. दंत चिकित्सा में भी नई तकनीकें रही हैं. इसमें सबसे महत्वपूर्ण डेंटल इंप्लांट है. इसके जरिए दांतों का प्रत्यारोपण किया जाने लगा है. इसका फायदा वैसे मरीजों को होता है, जिनके दांत टूटने या निकाले जाने के बाद उस जगह पर फिर दांत नहीं आते. नई तकनीक, विदेशों से आयातित उपकरणों और मेडिसिन के कारण फिलहाल इलाज महंगा है.

उन्होंने बताया कि लेजर तकनीक से भी दांतों का इलाज शुरू हो गया है. इस तकनीक के जरिए दांत और मसूढ़ों की परेशानी का सटीक इलाज संभव है. कॉस्मेटिक डेंटिस्ट्री भी दांत और मसूढ़ों से संबंधित बीमारी में कारगर है.

Web Title : DENTAL CONFERENCE AT PMCH AUDITORIUM