पटना : पिछले साल की तरह बारिश के पानी में पटना इस साल नहीं डूबे. इसको लेकर सरकार विभिन्न स्तरों पर प्लान बना रही है. इसी दौरान में बुधवार को नगर विकास और पथ निर्माण विभाग की संयुक्त बैठक हुई, जिसमें दोनों विभागों के मंत्रियों सुरेश शर्मा और नंदकिशोर यादव ने भाग लिया. इसके अलावा अधिकारी और स्थानीय जन प्रतिनिधि बैठक में विशेष रूप से मौजूद रहे.
बैठक में, इस पर गहरी चिंता व्यक्त की गयी कि नमामि गंगे परियोजना में कार्य करनेवाली एजेंसियों और पटना गैस पाईप लाइन एजेंसियों की ओर से पथ निर्माण विभाग की सड़कों को काट दिया जाता है, जिन्हें बनाने में लंबा समय लगता है. इससे लोगों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है. बैठक में तय किया गया कि नमामि गंगे और गैस पाइप लाइन का काम करनेवाली एजेंसियां अब पथ निर्माण विभाग के कार्यपालक अभियंता से अनुमति लेकर ही काम कर सकेंगी.
काम शुरू होने के बाद हर सप्ताह उसकी समीक्षा की जाएगी. कार्यपालक अभियंता अनुमति देने से पहले ये देखेंगे कि निर्माण एजेंसी कैसे सड़क को फिर से बनाएगी. सड़क को फिर से बनाने में पथ निर्माण विभाग के मानकों का पालन करना होगा. अब उन्हीं योजनाओं पर काम की मंजूरी दी जाएगी, जिनका काम जून महीने तक पूरा हो सकेगा, क्योंकि जून से बारिश शुरू हो जाती है. इसके बाद बारिश के बाद काम की अनुमति होगी.
अभी जिन सड़कों को खोदा गया है, उन्हें बनाने का काम तेजी से करने का फैसला लिया गया. मार्च महीने के तीसरे सप्ताह में फिर से बैठक का फैसला लिया गया. राजधानी में आर-ब्लॉक-दीघा रोड बन रही है. इसके आसपास पड़नेवाले मोहल्लों के पानी निकासी को लेकर चर्चा की गई.
इसके बारे में पथ निर्माण विभाग की ओर से जानकारी दी गई. बताया गया कि सड़क के किनारे पड़नेवाले मोहल्लों से पानी निकलने के लिए अलग से नाला बनाया जा रहा है. सीवरेज लाइन बिछाने के लिए सड़क के किनारे दो मीटर की जगह छोड़ी जा रही है, जिसमें बुडको की ओर से पाइप लाइन बिछाई जाएगी. बैठक में शामिल विधायकों और पार्षदों ने जो सुझाव दिए, उन पर आगे कार्रवाई करने का फैसला लिया गया है.