चीतल, सांभर और हिरण की खाल के साथ पकड़ाये आरोपी को 3 वर्ष का कारावास

बालाघाट. बालाघाट जिले के माननीय बैहर न्यायालय के न्यायाधीश मधुसुदन जंघेल की अदालत ने थाना बिरसा पुलिस द्वारा वन्यप्राणी संरक्षण अधिनियम के दर्ज किये गये मामले में आरोपी बिरसा थाना अंतर्गत माटे निवासी 35 वर्षीय बबलु पिता उदल मेरावी को दोषी पाते हुए धारा 49(बी) सहपठित वन्यप्राणी संरक्षण अधिनियम की धारा 51 के तहत दोषी पाते हुए आरोपी को 3 वर्ष के कारावास और 10 हजार रूपये के अर्थदंड से दंडित करने का फैसला दिया है. मामले में अभियोजन की ओर से सहायक जिला अभियोजन अधिकारी पंजाबसिंह ने पैरवी की थी.

सहायक जिला अभियोजन अधिकारी एवं मीडिया प्रभारी अखिल कुशराम ने बताया कि 2 फरवरी 2005 को बैहर पुलिस को सूचना मिली थी कि बबलु नामक व्यक्ति वन्यप्राणियों की खालो को बेचने की फिराक में घूम रहा है, जो खालों को लकर गांव से दमोह की ओर जाने वाला है. बिरसा थाना के तत्कालीन थाना प्रभारी संजय भारती और पुलिस टीम ने क्षेत्र अंतर्गत ग्राम माटे में मुखबिर के बताये अनुसार व्यक्ति को बुलाया गया तो वह साथ लेकर चल रहा बोरी फेंककर भागने लगा. जिसे पुलिस ने घेराबंदी कर पकड़ लिया. पुलिस द्वारा पकड़े गये आरोपी ने अपना पूरा नाम बबलु मेरावी बताया. जिसके द्वारा फेंके गये बोरी की तलाशी ली गई तो उस बोरी में तीन नग चीतल और अन्य बोरियो में सांभर एवं हिरण की खॉल मिली थी. जिसे जब्त करने के बाद बिरसा पुलिस ने आरोपी बबलु मेरावी के खिलाफ वन्यप्राणी संरक्षण अधिनियम की धारा 9, 49(बी),50,51 के तहत प्रकरण दर्ज कर विवेचना में लिया था. जिसमें मामले की संपूर्ण विवेचना उपरांतम पुलिस ने अभियोग पत्र माननीय न्यायालय में पेश किया था. जिसमें माननीय न्यायालय में विचारण चल रहा था. आज विचारण उपरांत सहायक जिला अभियोजन अधिकारी के तर्को और साक्षियो के बयान के आधार पर माननीय न्यायालय द्वारा उसे कारावास और अर्थदंड से दंडित करने का आदेश दिया है.


Web Title : ACCUSED OF CAUGHT WITH CHITAL, SAMBAR AND DEER SKINS SENTENCED TO 3 YEARS IN JAIL