हीरापुर पंचायत के सामुदायिक भवन में मिला हर्रा का भंडारण,वनविभाग के उड़नदस्ते ने की जांच, भंडारणकर्ता ने भंडारण स्थानांतरण की नहीं थी सूचना

बालाघाट. वनविभाग के उड़नदस्ते प्रभारी परिक्षेत्र अधिकारी धर्मेन्द्र बिसेन के नेतृत्व में 10 जून को उड़नदस्ता दल ने भरवेली क्षेत्र के हीरापुर पंचायत के सामुदायिक भवन में रखे गये हर्रा वनोपज संग्राहण की जांच करने पहुंचा था. जहां बड़ी मात्रा में लगभग 350 बोरियो में वनोपज हर्रा का भंडारण कर रखा गया था. वनविभाग की उड़नदस्ते द्वारा की गई जांच की कार्यवाही की जानकारी मिलने के बाद उद्योग कार्यालय के जीएम अखिल चौरसिया भी सामुदायिक भवन हीरापुर पहुंचे और रिश्तेदार द्वारा भंडारित किये गये हर्रा के संबंध में कागजी दस्तावेज उड़नदस्ता दल को दिखाये. हीरापुर पंचायत के शासकीय सामुदायिक भवन, हर्रा वनोपज संग्राहक ठेकेदार के हर्रा वनोपज की बोरियों से भरा था. पता चला है कि मानेगांव में वनोपज संग्राहक द्वारा भंडारित किया गया था, लेकिन बीते कोरोना कॉल में 10 मई को उसने मानेगांव के भंडारित गोदाम से वनोपज हर्रा के भंडारण को उठाकर हीरापुर पंचायत के सामुदायिक भवन में करवा दिया था. जिस सामुदायिक भवन को ठेकेदार द्वारा 3 हजार रूपये प्रतिमाह किराये के रूप में लिया गया था.

हीरापुर के सामुदायिक भवन में भंडारित कर रखे गये बड़ी मात्रा में हर्रा वनोपज की वरिष्ठ अधिकारियों से सूचना मिलने के बाद जांच करने उड़नदस्ता दल प्रभारी एवं परिक्षेत्र अधिकारी धर्मेन्द्र बिसेन और दल पहुंचा था. जहां उन्होंने सामुदायिक भवन में संग्रहित कर बोरियो मंे रखे गये वनोपज हर्रा का निरीक्षण किया. हालांकि बाद में वैध कागजी दस्तावेज मिलने पर भंडारण के स्थानांतरण की सूचना नहीं मिलने की बात कही. उन्होंने कहा कि इस मामले में जो भी वैधानिक कार्यवाही होगी, वह की जायेगी.

वाणिज्यक उपयोग के लिए जबलपुर के अनुज ने भंडारित कर रखी थी हर्रा वनोपज

बताया जाता है कि वाणिज्यक उपयोग के लिए जबलपुर, दमोह नाका, त्रिमूर्ति नगर रानी दुर्गावती चोक निवासी अनुज कुमार चौरसिया को वनोपज हर्रा के संग्रहण के लिए अनुबंध के तहत लायसंेस दिया गया है. जिसके तहत वह नियमानुसार वनोपज का संग्रहण कर रहे थे, केवल मानवीय भूल इतनी थी कि उन्होंने पहले मानेगांव में 25 हजार रूपये महिने से हर्रा वनोपज को भंडारित करने के लिए गोदाम लिया था, जो लॉकडाउन के दौरान बीते मई माह में उन्हें परिवर्तित कर वनोपज का संग्रहण हीरापुर पंचायत के सामुदायिक भवन में किया था. जिसकी सूचना वह वनविभाग को नहीं दे पाये थे. नियमानुसार विभाग को सूचना दी जाना चाहिये.  

3 हजार रूपये में हर्रा वनोपज भंडारित करने के लिए किराये पर दिया गया था सामुदायिक भवन 

हीरापुर पंचायत पवन मरकाम ने बताया कि सामुदायिक भवन खाली होने के चलते वनोपज हर्रा के भंडारण के लिए लिखित रूप से 3 हजार रूपये माह में सामुदायिक भवन दिया गया था. जिसके लिखित करारनामे को वनविभाग की जांच टीम को दिखाया गया है. बताया जाता है कि हीरापुर पंचायत का सामुदायिक भवन में ठेकेदार को काफी सस्ते में मिल गया था. जबकि वही गोदाम के लिए मानेगांव में ठेकेदार को 25 हजार रूपये देना पड़ रहा था. जिसके चलते मानेगांव से ठेकेदार द्वारा भंडारण स्थल को परिवर्तित कर हीरापुर सामुदायिक भवन कर दिया था.  


इनका कहना है

हर्रा वनोपज का काम मेरा भतीजा करता है, चूंकि लॉकडाउन में उसके द्वारा गोदाम चेंज किया गया था. जिसके लायसेंस और एनओसी, वनविभाग एसडीओ साहब को दिखाई गई है. चूंकि मानेगांव में 25 हजार रूपये किराये का गोदाम था लेकिन हीरापुर में सस्ते में सामुदायिक भवन मिल जाने के कारण गोदाम को यहां स्थानांतरित कर दिया गया था. उड़नदस्ता का दल गोदाम चेक करने आये थे. विभागीय अधिकारी ने कहा कि गोदाम परिवर्तन की सूचना विभाग को दे दी जायें.

अखिल चौरसिया, जीएम, उद्योग विभाग 

मुख्यालय से सूचना मिली थी. जिसके बाद हमारी टीम गोदाम में जांच करने पहुंची थी. भंडारणकर्ता के पास सभी वैध दस्तावेज है, लेकिन भंडारण स्थल परिवर्तन की सूचना नहीं दी गई थी. जिसमें जो भी नियमानुसार कार्यवाही होगी वह की जायेगी. वनोपज हर्रा के संग्रहण का लायसेंस है. भंडारण स्थल की सूचना विभाग को देने की बात कही गई है.

धर्मेन्द्र बिसेन, प्रभारी उड़दस्ता एवं परिक्षेत्र अधिकारी


Web Title : HARRA FOUND STORED IN COMMUNITY BUILDING OF HIRAPUR PANCHAYAT, FOREST DEPARTMENT FLYING SQUAD INVESTIGATED, STORAGE WAS NOT TRANSFERRED BY THE STORAGE COLLECTOR